शनिवार, 5 दिसंबर 2015

जैक लंडन – कहां कहां से गुज़र गया

जितनी रोमांचक और दिल पर सीधे असर करने वाली जैक लंडन की कहानियां होती हैं, उससे कहीं ज्‍यादा रोमांचक और दिल दहला देने वाली जैक लंडन (जनवरी 12, 1876 – नवम्‍बर  22, 1916) की खुद की कहानी है। सैन फ्रांसिस्‍को में वे एक अनब्‍याही मां की कोख से जन्‍मे थे। बड़े होने के बाद एक बार जब उन्‍हें मां के कागजों से उसकी आत्‍महत्‍या की कोशिश और अपने संभावित पिता के बारे में कुछ जानकारी मिली तो जैक ने विलियम चैने नाम के एक वकील को कन्‍फर्म करने के लिए खत लिखा। चैने ने बड़े भोलेपन से जवाब दिया था – बेटे, मैं तो नामर्द हूं। तुम्‍हारा पिता कैसे हो सकता हूं। हांफलां आदमी तुम्‍हारी मां के यहां खूब आया करते थे, वे ही शायद तुम्‍हारे पिता हों। 

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